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बीजापुर जिले में आफत की बारिश; नेशनल हाईवे हुआ जलमग्न, थाने और CRPF कैंप में घुटनों तक भरा पानी

  बीजापुर।  बस्तर के बीजापुर जिले में पिछले 2 दिनों से लगातार मूसलाधार बारिश हो रही है। इस आफत की बारिश ने एक बार फिर जिले में बाढ़ जैसे हाला...



 बीजापुर। बस्तर के बीजापुर जिले में पिछले 2 दिनों से लगातार मूसलाधार बारिश हो रही है। इस आफत की बारिश ने एक बार फिर जिले में बाढ़ जैसे हालात निर्मित कर दिए हैं। बीजापुर-भोपालपटनम नेशनल हाईवे 163 समेत अंदरूनी इलाके के कई गांवों में पानी भर गया है। पुलिस थाना से लेकर CRPF कैंप में भी घुटनों तक पानी भर गया है। जवान जरूरत का सामान लेकर बाहर निकल रहे हैं। जिले के एक गांव में 50 से ज्यादा मवेशी भी बह गए हैं। इधर, प्रशासन ने राहत दल को अलर्ट रहने के निर्देश दिए हैं। बस्तर के कई और जिलों में भी बारिश जारी है।

दरअसल, इस मानसून तीसरी बार बीजापुर में बाढ़ जैसे हालात निर्मित हुए हैं। भारी बारिश के चलते मोदकपाल थाना के पास स्थित रपटा (छोटा पुल) डूब गया है। जिससे मोदकपाल थाना में बाढ़ का पानी घुस गया है। बीजापुर-भोपालपटनम नेशनल हाईवे 163 जलमग्न हो गया। दोनों तरफ वहानों की लाइन लगनी शुरू हो गई है। हालांकि, बड़ी और भारी वाहनें निकल रही है। छोटी वाहनों को परेशानी झेलनी पड़ रही है।

इसके अलावा बीजापुर-गंगालूर मार्ग पर पदेडा और पोंजेर नाला भी उफान पर है। पोंजेर में स्थित CRPF कैंप भी डूब गया है। जवान खुद को और सामान को सुरक्षित रखने का प्रयास कर रहे हैं। चेरपाल-गंगालूर समेत कई गांव टापू बन गए हैं। वहीं कोकड़ा पारा में बरसाती नाले के बढ़ते जलस्तर ने एक बार फिर से लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी है।

भारी बारिश के चलते चिन्नाकवाली के आश्रित ग्राम रालापाल में करीब 50 से ज्यादा मवेशी बह गए हैं। वहीं, पदेडा नाले में 4 से 5 मवेशी पानी के तेज बहाव में बह गए हैं। गांव वालों का कहना है कि, इन मवेशियों को नाले से कुछ दूरी पर बांध रखा था। लेकिन, रात में हुई मूसलाधार बारिश से नाले का जल स्तर बढ़ गया, जिसमें मवेशी बह गए।

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